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उपज रहन ऋण योजना

राजस्थान सरकार दवारा किसानों की आय में सुधार करने और उनके जीवन को वेहतर वनाने के लिए कृषि उपज रहन ऋण योजना को शुरु करने की घोषणा की है। इस योजना के तहत सरकार दवारा छोटे और सीमांत किसानों को 1.5 लाख रुपए अपने उपज जमा करने पर और बड़े पैमाने वाले किसानों को 3 लाख रुपये तक का ऋण 11% ब्याज दर पर छोटी अवधि के लिए ऋण प्रदान करेगी, जिसमे किसानों को उसकी उपज का 70% ऋण मिलेगा। जिसके दवारा किसान बाजार में अच्छे भाव आने पर अपनी फसल को आसानी से बेच सकते है। यह योजना किसानों की तात्कालिक वित्तीय आवश्यकता को पूरी करने तथा कम दामों में फसल बेचने की मजबूरी में मददगार साबित होगी।

इसके अलावा समय पर ऋण चुकाने वाले किसानों को ब्याज पर 2% की छूट भी मिलेगी। राज्य सरकार दवारा ऋण पर ब्याज सब्सिडी भी प्रदान की जा रही है, ताकि राज्य के किसानों का बेहतर जीवन बन सके। योजना में पात्र समितियों का दायरा बढ़ाकर 5500 से अधिक किया गया है ताकि अधिक से अधिक किसान लाभान्वित हो सके। 1 जून से शुभारम्भ हो रही उपज रहन ऋण योजना का जून माह में राज्य के 25 हजार किसानों को जोड़कर लाभ प्रदान किया जाएगा। राजस्थान की यह योजना भारत में सबसे कम ब्याज दर यानि 3% पर किसान को रहन ऋण देने की विशेष पहल है। जो उनकी आय में वृद्धि करती है।

राजस्थान कृषि उपज रहन ऋण योजना की मुख्य विशेषताएं

  • पुनर्भुगतान पर छूट– राज्य सरकार ने यह भी घोषित किया है कि जो किसान समय पर ऋण चुकाने मे समर्थ होंगे उन्हे ब्याज दर मे 2% की छूट प्राप्त होगी।
  • लैंप और जीएसएस – यह योजना किसानों को भी लाभ प्रदान करेगी जो पहले से ही GSS और एलएपीएमएस के तहत पंजीकृत हैं।
  • वर्गीकरण – किसानों का वर्गीकरण ऑडिट के आधार पर किया जाएगा। ऑडिट नियमित रूप से जानकारी के आधार पर किया जायेगा और किसानों को ए और बी के रूप में वर्गीकृत किया जाएगा।
  • अधिशेष संसाधन– उपर्युक्त बिंदुओं के अलावा, यह योजना अधिशेष संसाधनों की उपलब्धता को आश्वस्त करेगी।
  • बाजार मूल्य बिंदु की बैठक – उन किसानों को ऋण प्रदान किया जाएगा, जो कि बाजार सेबिक्री से लाभ प्राप्त करने में असमर्थ हैं|

उद्देश्य

कृषि उपज रहन ऋण योजना का मुख्य उद्देश्य किसानों को छोटी अवधि के लिए ऋण प्रदान करना है ताकि वो अपनी अति आवश्यक जरूरतों को पूरा कर सकें।

योजना के पात्रता मानदंड:-

  • राज्य के किसानों के लिए- इस योजना के लाभ पाने के लिए किसानों को राजस्थान राज्य के निवासियों का होना होगा। वे
    राज्य सरकार द्वारा आधार कार्ड और मतदाता कार्ड जारी किए जाने की आवश्यकता है।
  • एनपीए संबंधी मानदंड – इस योजना में इस बात पर प्रकाश डाला गया है कि यदि गैर-लाभकारी एनपीए के लाभ 10% से कम है, तो वे क्रेडिट प्राप्त करने  मे सक्षम होंगे।
  • क्रेडिट के रूप में केवल 70% लागत – यह योजना किसानों को कुल पैसे का केवल 70% प्रदान करेगा, गणना बाजार मूल्य के आधार पर की जाएगी जिस पर किसान ने फ़सल बेची होगी।
  • सक्रिय बैंक खाता – जैसा कि खाते के माध्यम से किसानों को क्रेडिट दिया जाएगा, यह अनिवार्य है कि हर किसान का सक्रिय बैंक
    खाता हो । इस खाते का विवरण पंजीकरण फॉर्म के साथ प्रदान किया जाना चाहिए।

कृषि उपज रहन ऋण योजना के लाभ 

  • कृषि उपज रहन ऋण योजना का लाभ राजस्थान के किसान वर्ग को मिलेगा।
  • इस योजना के लिए किसान अपनी उपज को रहन रखकर 3% ब्याज पर डेढ़ लाख से तीन लाख रुपए तक का ऋण ले सकते हैं।
  • योजना के जरिए लाभार्थीयों को अल्पावधि ऋण 90 दिन तक प्रदान किया जाएगा लेकिन विशेष परिस्थितियों में इसे छह महीने तक बढ़ाया भी जा सकता है।
  • इस योजना से किसानों को छोटी अवधि के लिए ऋण प्रदान किया जाएगा, जिससे वो अपनी आवश्यक जरूरतों को पूरा कर सकें।
  • समय पर ऋण चुकाने वाले किसानों को ब्याज पर 2% की छूट भी दी गई है।
  • किसानों को उनके द्वारा रखे गए उत्पाद के बाजार में मूल्य के आधार पर मूल्यांकन किया जाएगा जो भी कम है और मूल्यांकन की 70% राशि उन्हें ऋण के रूप में उपलब्ध करवाई जायेगी।
  • इस योजना से राज्य के किसानों को अपने कृषि उत्पाद का उचित मूल्य प्रदान होगा।
  • योजना में अच्छे कार्य करने वाली समितियों के कार्मिकों के लिए एपेक्स बैंक द्वारा प्रोत्साहन स्कीम को भी जारी किया जाएगा|
  • किसानों का आर्थिक पक्ष मजबूत होगा।  
  • इससे किसानों की आय में सुधार होगा।
  • किसानों का जीवन बेहतर वनेगा|